November 8, 2024

News India Group

Daily News Of India

कौन हैं विजयपाल सजवाण, क्या रखेंगें यथावत गंगोत्री का मिथक।

1 min read

अरविन्द थपलियाल

उत्तरकाशी : उत्तराखंड में विधानसभा के चुनाव होने जा रहे हैं और भाजपा और कांग्रेस की तरफ से प्रत्याशी मैदान में उतारे गये हैं और गंगोत्री के मिथक को कायम रखने की आजमाईस हो रही है।
अब विधानसभा चुनाव के मैदान में पूर्व विधायक विजपपाल सजवाण को उतारा है कांग्रेस की तरफ से और सजवाण की गंगोत्री में मजबूत पकड़ मानी जा रही है।

कौन है विजयपाल सजवाण जरा जाने।
विजय पाल सिंह सजवाण उत्तराखंड कांग्रेस के एक ऐसे जमीनी नेता ओर मजबूत स्तंभ हैं, जिनकी जीत सरकार बनने की सूचक है। इनका संपूर्ण जीवन दीन-हीन, गरीब, असहायों की सेवा में समर्पित है। वे हर गरीब, शोषित और वंचितों की सुनने वाले, उनकी चिंता करने वाले और उनकी आवाज बनने वाले जन नेता हैं।
ऐसे ही जमीन से जुड़े विराट व्यक्तित्व से आज हम आपको “हमारे नेता हमारा अभिमान” के जरिए रूबरू करवाने जा रहे हैं।

उत्तरकाशी जिले के बसूँगा गांव में एक किसान परिवार में जन्मे सजवाण बचपन से ही बहुमुखी प्रतिभा के धनी रहे है, मिलनसार व्यवहार और मददगार कार्यशैली के कारण वे छात्र जीवन से ही लोकप्रिय रहे। वर्ष 1980 में कांग्रेस पार्टी की सदस्यता ग्रहण करने के पश्चात वे राजकीय महाविद्यालय उत्तरकाशी में छात्र संघ के चुनाव में महासचिव पद पर निर्वाचित हुए। सन् 1982 में छात्र संघ चुनाव में अध्यक्ष पद पर भी चुने गए।

वर्ष 1988 से 1991 तक सजवाण ने उत्तरकाशी जिले के युवा कांग्रेस अध्यक्ष के रूप में स्थानीय युवाओं के साथ अनेक जनपक्षीय कार्य कर अपनी जिम्मेदारियों को बखूबी निभाया। जनता के बीच लगातार सक्रियता के कारण वे 1992 से 1997 तक बाड़ाहाट क्षेत्र से पालिका सभासद निर्वाचित हुए, इसी दौरान कांग्रेस जिला उपाध्यक्ष के पद पर रहते हुए उन्होंने कांग्रेस के कई आंदोलनों में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। उत्तराखंड राज्य आंदोलन में सजवाण जी की सक्रियता किसी से छिपी नहीं है। उत्तराखंड राज्य निर्माण के लिए हुए आंदोलन मे वे 17 दिनों तक नैनी जेल में रहे ।

पालिका सभासद रहते अपनी कार्यशैली के बूते वर्ष 1997 में नगर पालिका उत्तरकाशी के चेयरमैन निर्वाचित हुए। राजनीति में सुचिता के कारण वर्ष 2002 में उन्हें उत्तराखंड राज्य के पहले विधानसभा चुनाव में 03_गंगोत्री विधानसभा से पहले विधायक बनने का गौरव हासिल हुआ। सरकार बनाने में महत्वपूर्ण इस सीट का मिथक है कि अभिभाजित उत्तरप्रदेश सरकार के दौरान से ही आजादी के बाद हुए तमाम चुनावों में जिस भी दल का प्रत्याशी उत्तरकाशी/गंगोत्री विधानसभा से जीता है, सूबे में उसी दल की सरकार बनी है। इसी क्रम में वर्ष 2012 में उन्होंने एक बार फिर विधानसभा चुनाव जीतकर क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया, ओर सूबे में कांग्रेस की सरकार बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

इसके अलावा सजवाण तिवारी सरकार के दौरान दमदार लीडर के तौर पर “अध्यक्ष राज्य आपदा प्रबंधन”, संसदीय सचिव व कई अहम पदों पर भी रहे जिसका उनकी सरलता पर दूर-दूर तक असर नहीं दिखा। अपने कार्यकाल में उत्तरकाशी जनपद में उनके द्वारा विकास के नए आयाम स्थापित किये गए, सुदूर ग्रामीण क्षेत्रों में सड़कों के जाल के अलावा, उन्होंने क्षेत्र की सबसे बड़ी मांग OBC का शानदार तोहफा अपनी विधानसभा वासियों को दिया, इंजीनियरिंग कॉलेज, ITI, पॉलिटेक्निक जैसे संस्थान खोलकर उन्होंने युवाओं के सुनहरे भविष्य की नींव रखी, वर्ष 2012-13 की आपदा में उजाड़ हो चुके उत्तरकाशी शहर और अन्य तटवर्ती कस्बों में करोड़ों के सूरक्षात्मक कार्य करवाकर उन्होंने भविष्य के किसी भी संकट के लिए इस क्षेत्र को अभेद किले में तब्दील किया। विकास कार्यों की ऐसी ही लंबी फेहरिस्त के कारण लोगों ने उन्हें विकास पुरुष की संज्ञा दी। जो आज भी निरंतर आमजन के संघर्ष के साथ मजबूती से खड़े है। इनकी लोकप्रियता का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि पूरे उत्तराखंड में अधिकारियों से लेकर राजनेताओं तक हर कोई इनके मिलनसार व्यक्तित्व का कायल है।

आमतौर पर जहां लोग चुनाव हारने के बाद कोपभवन में चले जाते हैं, वहीं सजवाण ने 2017 का विधानसभा चुनाव हारने के बाद इसे हार न मानकर, चुनौती के रूप में स्वीकार किया और पहले दिन से ही उनकी सक्रियता जनहित में लगातार बनी रही। इसके अलावा उत्तरकाशी के स्थानीय मुद्दों को लेकर भी वह हमेशा संघर्षरत रहे और आज भी लगातार जनहित के महत्वपूर्ण मुद्दों पर प्रखरता से जनता की आवाज को बुलंद किए हुए हैं। चाहे सत्ता में हों या विपक्ष में विजयपाल सजवाण आम जनता की समस्याओं के समाधान हेतु हमेशा खड़े नजर आते हैं।
वर्तमान में विजयपाल सजवाण उत्तराखंड प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रदेश उपाध्यक्ष हैं। विपक्ष में होकर आज भी इनके आवास पर फरियादियों एवं समर्थकों की भीड़ से सहज ही अंदाजा लगाया जा सकता है, कि इन्होंने अपनी राजनीतिक जमीन को किस परिश्रम और समर्पण से सींचा है।
विजयपाल सजवाण का मिलनसार व्यवहार, हंसमुख मिजाज, मजबूत ओर दबंग नेता के तौर पर, अपने लोगों के हक़ के लिए लड़ने वाला, जनता की आवाज को बुलंद करने का उनका हौसला, समाज के हर वर्ग का साथ और पिछले कार्यकाल के उनके विकास कार्य निश्चित ही 2022 के विधानसभा चुनाव में उन्हें रिकॉर्ड मतों से विजयी बनाकर बड़ी जिम्मेदारी के साथ उत्तराखंड विधानसभा में पहुंचाने में जुटे हैं, ओर उत्तराखंड में कांग्रेस की सरकार बनाएंगे।
अब यह देखना बड़ा दिलचस्प होगा कि आखिर गंगोत्री का मिथक यथावत रहता है या नहीं?

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *